गंगा में प्रदूषण
Ganga me Pradushan
गंगा नदी पिछले कुछ साल में काफ़ी प्रदूषित हुई है। इसे साफ़ करने की सारी सरकारी योजनाएँ अब तक नाकाम हो चुकी हैं। मोदी सरकार ने गंगा की सफ़ाई को राष्ट्रीय महत्त्व का दर्जा देकर इसकी सफ़ाई को एक जन-आंदोलन बनाने का भरोसा दिया था। सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दायर कर गंगा की सफ़ाई के लिए उठाए जाने वाले कदमों की जानकारी भी दी। इसके लिए शुरुआती तौर पर फंड भी जारी किया गया। हालांकि, इसके बाद तक गंगा की सफ़ाई के काम में तेजी नहीं आई है, जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा है कि अगर गंगा की सफ़ाई की योजना इसी तरह चली, तो गंगा 200 साल में भी साफ़ नहीं हो सकती। सचमुच गंगा नदी हमसे सवाल कर रही है कि आखिर मेरा दोष क्या है? मैं तो जीवनदायिनी हूँ, फिर क्यों मैं विनाश के कगार पर हूँ ? मेरे साथ यह अन्याय क्यों हो रहा है ? गंगा के सवाल और उसके दर्द को जानने-समझने की जरूरत है।
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