मेरा पालतू जानवर
Mera Paltu Janwar
पालतू जानवर वह जानवर होते हैं जिन्हें घरों व फार्मों में पाला जाता है। इन्हें रुचि के लिए या फिर अपने उपयोग के लिए पाला जाता है। यह इन्सान के परम मित्र होते हैं। यह विश्व में बहुत से घरों में पाले जाते हैं। बिल्ली,कुत्ता, घोड़ा, ऊँट, गाय, बैल, भैंस, बकरी, भेड़ इत्यादि भी पालतू जानवर हैं। कुछ पहाड़ी' क्षेत्रों में याक पालतू जानवर के रूप में पाला जाता है। बहुत से जानवरों व पक्षियों को उनकी आवाज और रंग-बिरंगे पंखों के लिए पाला जाता है। उनकी अपनी सुंदरता व आकर्षण होता है।
भारत में गाय सबसे ज्यादा पाला जाने वाला पशु है। यह बहुत ही उपयोगी जानवर है। यह हमें दूध देती है। दूध से दही, क्रीम, घी, पनीर आदि तैयार किए जाते हैं। बहुत सी मिठाईयाँ घी व दूध से तैयार की जाती हैं। गाय का गोबर खाद के रूप में उपयोग किया जाता है। गोबर का इस्तेमाल घर को लीपने-पोतने व ईंधन के रूप में भी किया जाता है। बैल हल जोतते हैं, कुओं से पानी खींचते हैं तथा वह वजन भी ढोते हैं। गाय का चमड़ा, सींग व हड्डियाँ सभी बहुत उपयोगी होते हैं।
कुत्ता एक बहुत ही वफादार जानवर है। कुत्ते को अपनी सुरक्षा व सावधानी के लिए पाला जाता है। वह बहुत ही सतर्क व सावधान होता है तथा अजनबियों को दूर भगाने में सक्षम होता है। कुत्तों को शिकार करने के लिए भी प्रयोग किया जाता है। कुत्ता अपने मालिक का वफादार साथी होता है। खतरे के समय में अपने मालिक की रक्षा करने के लिए यह अपने प्राणों की बली दे देता है। कुत्तों की तीस से भी अधिक जातियाँ पाई जाती हैं।
बिल्ली को चूहों को खत्म करने के लिए पाला जाता है। बिल्ली को शौक के लिए भी पाला जाता है। .
घोड़ा एक बहुत ही उपयोगी जानवर है। वह बहुत बलवान होता है तथा घुड़सवार को अपनी पीठ पर बैठाकर एक लम्बी दूरी तय कर सकता है। इसका प्रयोग खेलों व क्रीड़ास्थलों पर भी किया जा सकता है। बकरी भी बहुत लाभदायक है, वह भी दूध देती है जोकि हल्का व पाचक होता है। गाँधीजी भी बकरी के दूध का सेवन करते थे। भेड़ भी बहुत उपयोगी होती है क्योंकि वह हमें दूध, ऊन, और चमड़ा देती है। रेगिस्तान में ऊँट लाभदायक है। ऊँट को रेगिस्तान का जहाज भी कहा जाता है। वह रेगिस्तान में भी भारी वजन उठाकर आसानी से चलता है। ऊँट पानी के बिना बहुत दिनों तक जिन्दा रह सकता है। गधा गरीब व्यक्ति का बोझा ढोने वाला जानवर है। वह अपने मालिक की इस प्रकार सेवा करता है जैसे कि कोई अन्य जानवर नहीं कर पाता। उसके रख-रखाव पर बहुत ही कम खर्च करना पड़ता है।
हमें इन सभी जानवरों के प्रति दया भाव रखना चाहिए। उन्हें सन्तुलित आहार व रहने का सही स्थान देना चाहिए और भली-भाँति उनका ध्यान रखना चाहिए। इन जानवरों के साथ क्रूर व्यवहार नहीं करना चाहिए। जानवरों को पालकर हम उनकी बहत-सी आदतों, व्यवहार, खान-पान आदि के बारे में जान सकते हैं। वह बहुत ही उपयोगी हैं क्योंकि वह सदैव अपने मालिक की सेवा के लिए तत्पर रहते हैं।
0 Comments