मने बात
Mane Baat
मन की बात मन मा ही रै जान्दा
टुकड़ी देखी क मुखड़ी फरकी जान्दा
हत्यू का अंगुला बराबर नी होन्दन
पीठ का भै बैणा, एक सनी नी रैन्दन
सुख दुःख जिन्दगी मा, एक सनी नी होन्द
मन की बात मन मा ही रै जान्दा
चुल्हा कू भेल कभी कभी होन्द
एक गला को पाणी, तातो दूध वणी जान्द
घ्वीड़ को अपणो चांठो, सदानी प्यारो रैन्दा
मन की बात मन मा ही रै जान्दा
नशा खाओ विरैणी मौ, गुस्सा खाओ अपणी मौ
नाकदार तै शरम, नककटा हंसदी रौ
सौण मा मरी मरी जासू, भादों आंसू औन्द
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