दादी जी की बीमारी के विषय में बताते हुए ताऊ जी को पत्र। 

26, पंचशील पार्क 

नई दिल्ली 

16 मार्च 2015 

आदरणीय ताऊजी,

सादर प्रणाम! कुशलता की मंगल-कामनाओं के साथ पत्र प्रारंभ कर रही हैं। आजकल दादी अम्मा की तबीयत कुछ ठाक चल रही है। बार-बार बुखार हो जाता था, फ़िर दवा से उतर भी जाता था, इसलिए पहले आपको नहीं बताया कि आप चिंता करेंगे। पिछले हफ्ते वे चक्कर वे चक्कर खाकर गिर पड़ीं तब डॉक्टर ने एम०आर०आई०, एक्स-रे और खून की जाँच करवाई। कल ही रिपोर्ट मिली हैं। अम्मा के सिर के पिछले भाग में एक गाँठ है। कैंसर है या नहीं, इसकी जाँच हो रही है। 

आजकल अक्सर वे आपको याद करती हैं। वे जानती हैं कि इस समय आप ऐसे स्थान पर हैं जहाँ उनका जाना संभव नहीं। आप यदि कुछ दिन का अवकाश लेकर यहाँ आ सकें तो अम्मा के साथ-साथ हम सबको भी ख़ुशी होगी। एक वर्ष से हम लोगों का मिलना नहीं हो सका है।

अम्मा की ओर से आप निश्चित रहें। माँ-बापू और बड़े भैया उनके इलाज में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। हम दोनों भाई-बहन भी अम्मा के पास बैठकर उनका मन बहलाने और बीमारी से ध्यान बँटाने की कोशिश करते हैं। आप तो जानते ही हैं कि उन्हें अपने दिनों के किस्से सुनाने में कितना आनंद आता है। हम सब उनका ध्यान रख रहे हैं।

रिपोर्ट आने पर आपको फ़िर पत्र से सूचित करूँगी। 

आदरणीय ताई जी और बड़ी दीदी को हमारा सादर प्रणाम! 

आपकी प्रिय भतीजी

सुनंदा