जवनी कू उमाल 
Jawani Ku Umal



जवनी कू उमाल किलै खतदी 

जवनी नी रैन्दी सदनी 

टल्ला लगै लगै की बुबा न तुमतैं पाली 

स्याणी करी कर तुमन पुंगडयूँ मारी फाली 

तोड़ी दे ब्वे बुबा की तुमन आस 

जवनी नी रौन्दी सदनी पास 

स्यूंद पाटी करिक, मेला थोलों मा गयां 

थौ विसोणा बाना पर, तमखू बीड़ी पेय 

हडग्यूँ पर लगै दिनी तुमन घाम 

जवनी नी रौन्दी सदनी पास 

जवनी की तागत तै तुम न गँवांवा 

अपणा विरौणा का तुम काम आवा 

यां से ही होलो तुमारो ब्वे बुवा को नाम 

जवनी नी रौन्दी सदनी 

सीमा पर जू जयां छन बू भी ज्वान, जवान छन 

जवनी तै उ भी सभी नयो नाम दिणा छन 

संकल्प तौंकू लियू च ह्वे जौला बलिदान 

जवनी नी रौन्दी सदनी 

भाई बन्ध बणि की, एक वे जावा 

देश का विकास मा तम भी हाथ लगावा 

जवनी ऐ जा त देश का काम 

जवनी नी रौन्दी सदनी