हमारा राष्ट्रीय ध्वज 
Hamara Rashtriya Dhwaj



राष्ट्रीय ध्वज किसी भी राष्ट्र की स्वतंत्रता तथा सत्ता का प्रतीक होता है। सभी देशों का अपना अलग राष्ट्रीय ध्वज होता है। भारत का भी अपना राष्ट्रीय ध्वज है। इसे तिरंगा कहा जाता है। इसमें तीन रंग की पट्टियाँ हैं केसरिया, सफेद तथा हरी। इन पट्टियों के अपने सांकेतिक अर्थ भी हैं। जैसे केसरिया पट्टी त्याग की निशानी है। सफेद पट्टी शुद्धता तथा हरी पट्टी उन्नति तथा खुशहाली की प्रतीक है। झण्डे के मध्य में एक चक्र भी है। इसे अशोक चक्र कहते हैं। इस चक्र में चौबीस तीलियाँ होती हैं। यह चक्र प्रगति का प्रतीक है। इस प्रकार लहराता हुआ तिरंगा हमें शुद्धता, खुशहाली, त्याग, बलिदान तथा शान्ति का सन्देश देता है। यह हमारे देश के गौरव का प्रतीक है। यह देश की जनता का प्रतिनिधित्व करता है। 


तिरंगा झण्डा हमें आजादी के संघर्ष की याद दिलाता है। ब्रिटिश सरकार के झण्डे 'यूनियन जैक' को हटाकर तिरंगा फहराने के लिये सैकड़ों देशभक्तों ने अपनी जानें दे दी। आजादी से पूर्व इस तिरंगे का स्वरूप थोड़ा बदला हुआ था। आजादी मिलने के बाद भारतीय नेताओं ने इसको इस रंग में बदला तथा राष्ट्रीय ध्वज स्वीकार किया। तिरंगा झण्डा हमारी शान का प्रतीक है। यह हमें सिखाता है कि देश की शान के लिये हमें त्याग तथा बलिदान के लिये सदैव तैयार रहना चाहिये। स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली के लाल किले पर भारत के प्रधानमंत्री जब तिरंगा फहराते हैं तो मन में देशप्रेम की लहर दौड़ जाती है। उसी प्रकार जब गणतंत्र दिवस पर देश के राष्ट्रपति तिरंगा फहराते हैं तो मन को अत्यंत शान्ति मिलती है। तिरंगा ही भारत देश की आत्मा है। तिरंगा झण्डा जिला मुख्यालयों, अदालतों पर लहराता हुआ देखा जा सकता है। देश के सभी लोगों को तिरंगे का सम्मान करना चाहिये।

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